अपने मन को ना मैं

अपने मन को ना मैं पीछे ले जाना चाहता हूँ, ना आगे, 
अपने मन को मैं साथ में रखना चाहता हूँ, 
मेरा मन मेरा साथी बना रहे तो कितना अच्छा हो, 
मेरा मन मेरे साथ चलता रहे तो कितना अच्छा हो, 
अपने मन को मैं, अपना बनाकर रखना चाहता हूँ  l

मेरा मन शांत रहे, मेरा मन बेचाह रहे, 
मेरा मन कुछ करता नही, मेरा मन निष्काम रहे, 
मेरा मन यहीं ठहर जाए, मेरा मन मुझमें उतर जाए, 
मेरा मन दिल के पास रहे, मेरा मन आज निखर जाए, 
अपने मन में मैं, खुशियाँ भरना चाहता हूँ  l

मन की बात ना सारी माने, 
मन की चाल को गहरी जाने, 
मन करता है अपनी मनमानी, 
नही मन को अपना हितकारी जाने, 
मन को जिसने साध लिया, 
उसने खुद को पहचान लिया, 
अपने मन को मैं रब का बनाना चाहता हूँ  l


Thank You. 

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