कैसा है जीवन, कैसा रहेगा,
जीवन तो, मन पर निर्भर है,
जैसा मन, वैसा है जीवन,
जीवन तो, मन से अग्रसर है,
मन खुश है तो,
जीवन मे खुशियाँ,
मन उदास है तो,
जीवन नही बढ़िया,
मन हारे तो हार है,
मन जीते तो जीत है,
मन को जिसने संभाल लिया,
उसका जीवन जन्नत है l
जीवन तो, मन पर निर्भर है,
जैसा मन, वैसा है जीवन,
जीवन तो, मन से अग्रसर है,
मन खुश है तो,
जीवन मे खुशियाँ,
मन उदास है तो,
जीवन नही बढ़िया,
मन हारे तो हार है,
मन जीते तो जीत है,
मन को जिसने संभाल लिया,
उसका जीवन जन्नत है l
मन तो है आजाद पंछी,
जो हर पल उड़ता रहता है,
चैन नही पल भर है इसको,
मंजिल ढूंढता रहता है,
कुछ मिले या ना मिले पर,
आशा हरदम रखता है,
निराश होना नही आता इसको,
दूर दूर देखता रहता है,
मन देता रहता है शक्ति पर
कभी कमजोर भी कर देता है,
मुश्किलें भी हट जाती है,
मन जो रहता उन्नत है l
तन चाहे थक जाता है पर,
मन कभी थकता नही है,
परेशान मन जब होने लगता,
जब चिंता करने लग जाता है,
कुछ खुशी और गम का,
ये जीवन तो संगम है,
रास्ते भी मिल जाते हैं,
जब मन ये होता रोशन है l
इस मन मे खुशी रहे सदा,
जीवन में हँसी रहे सदा,
छूटे सब झूठे भ्रम मन के,
मिट जाए सारे दर्द तन के,
मुश्किलों से घबराना क्या,
मुश्किल आती जाती रहती है,
चाहतों का क्या मन में रखना,
ये तो बदलती रहती है,
किस्मत भी बनती रहती है उनकी,
जो विचार करता मन है l
Thank you.
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