कैसे मिले मन मेरा तुझसे

कैसे मिले मन मेरा तुझसे, 
कोई तो उपाय बतलाओ, 
मैं चाहूँ जितना तुमको, 
क्या तुम भी उतना ही चाहो, 
दूर दूर तुम रहते हो, 
फिर कैसे मिलना संभव हो, 
दूर दूर तुम बैठे हो, 
फिर कैसे मिलना संभव हो, 
कैसे मिले मेरा दिल तुझसे, 
कोई तो युक्ति बतलाओ l

मैं सोचूँ कुछ और ही, 
तुम सोचो कुछ और ही, 
मैं देखूँ कुछ और ही, 
तुम देखो कुछ और ही, 
दोनों की नजरें मिले, 
दोनों का दिल मिले, 
दोनों के मन मिल जाए, 
कोई तो साधन बतलाओ l

अमन करे प्रयास बहुत, 
लेकिन तुम बड़ी दूर हो, 
सुनते भी नही बात मेरी, 
कितने तुम मुझसे दूर हो, 
तुझसे रिश्ता नही टूट सके, 
ये कैसा अटूट बंधन है, 
तेरे दर्शन की अभिलाषा है, 
कभी झलक तो अपनी दिखलाओ  l



Thank You. 

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